Jalandhar : निगम अफसरों का कारनामा, सील मकान में कैद कर दिए इंसान; लापरवाही ने पार की अमानवीयता की हदें… पढ़ें और देखें
पंजाब हॉटमेल, जालंधर। महानगर जालंधर में नगर निगम के कुछ ऐसे कार्य भी हैं जो सुर्खियों में रहते हैं। प्रेम नगर, गली नंबर-5 में नगर निगम की लापरवाही ने एक बार फिर इंसानियत को शर्मसार कर दिया।

बुधवार रात करीब साढ़े दस बजे निगम की बिल्डिंग ब्रांच ने एक 40 साल पुराने मकान को अचानक सील कर दिया। लेकिन सबसे चौंकाने वाली बात यह रही कि सीलिंग के वक्त मकान मालिक मान सिंह ठाकुर और उनके रिश्तेदार अंदर ही मौजूद थे।

बिना यह जांचे कि कोई अंदर है या नहीं, निगम ने दरवाजे और दुकानों पर ताले ठोक दिए।घटना के बाद अंदर फंसे बुजुर्ग मान सिंह ने किसी तरह अपने बेटे राकेश को फोन किया।
राकेश तुरंत मौके पर पहुंचा और शुक्रवार को मेयर वनीत धीर और जॉइंट कमिश्नर डॉ. सुमनदीप कौर से मुलाकात कर गुहार लगाई। अफसरों ने आश्वासन दिया कि जल्द सील हटाकर लोगों को बाहर निकाला जाएगा।
इस दौरान परिजन दरवाजे के नीचे से खाना-पानी पहुंचाते रहे। मान सिंह ने कहा कि आमतौर पर सीलिंग से पहले निगम सामान निकालने का समय देता है, लेकिन इस बार सीधे सील लगा दी गई।
उन्होंने बताया कि उनकी दुकानों का नक्शा पास है, और प्रेम नगर की इंडस्ट्री से हुई शिकायत के आधार पर यह कार्रवाई हुई है।
जॉइंट कमिश्नर डॉ. सुमनदीप कौर ने कहा, “हमने एमटीपी को निर्देश दे दिया था कि अंदर फंसे लोगों को बाहर निकाला जाए। अवैध निर्माणों पर कार्रवाई जारी रहेगी।
”हालांकि सवाल यह है कि क्या किसी भी कार्रवाई में मानवीयता को नजरअंदाज किया जा सकता है? एक 40 साल पुराने घर को अचानक सील कर देना और उसमें लोगों को कैद कर देना किसी भी तरह से तर्कसंगत नहीं ठहराया जा सकता।
इस घटना ने न सिर्फ निगम की कार्यशैली पर सवाल खड़े किए हैं, बल्कि ये भी दिखाया है कि लापरवाही जब हदें पार करती है, तो वह इंसानियत को भी पीछे छोड़ देती है।