Breaking: Canada में स्टडी वीजा में इतने फीसदी कट का असर वहां के शिक्षा संस्थानों पर दिखा… इन कॉलेजों में कई कोर्स बंद, पढ़ें
अवैध रूप से अमेरिका में रह रहे सैकड़ों भारतीय डिपोर्ट, सबसे ज्यादा पंजाबी… हजारों लोगों की पहचान की; सख्ती बढ़ने से परेशानियां बढ़ी
मनमोहन सिंह
जालंधर/कनाडा/अमेरिका/अमृतसर। कनाडा ने स्टडी वीजा में 40 फीसदी कटौती कर दी लेकिन इसका व्यापक असर कनाडा में दिखाई देने लगा है। कनाडा के पंजाबी समुदाय की पहली पसंद रहे कॉलेजों में या तो स्टाफ की छंटनी होने लगी है या फिर कोर्स बंद होने लगे हैं।

पंजाबियों की पहली पसंद रहे ओन्टारियो के कॉलेजों और विश्वविद्यालयों में बड़े बदलाव हो रहे हैं। ओंटारियो के टोरंटो स्थित सेंटेनियल कॉलेज ने घोषणा की है कि वह 2025 के ग्रीष्म और सर्दी के सेमेस्टर तथा 2026 सेमेस्टर के लिए 49 पूर्णकालिक कार्यक्रमों में नए नामांकन रोक रहा है। इसमें पत्रकारिता, वित्तीय योजना, प्रौद्योगिकी फाउंडेशन और सामुदायिक विकास जैसे कार्यक्रम शामिल हैं।

सेंटेनियल कॉलेज के प्रवक्ता ने कहा, “हम ये सभी कदम कॉलेज की दीर्घकालिक मजबूती और स्थिरता को ध्यान में रखते हुए उठा रहे हैं। लेकिन इन परिवर्तनों का हमारे समुदाय, संकाय और कर्मचारियों पर गहरा प्रभाव पड़ेगा। प्रवक्ता ने स्पष्ट किया कि 128 पूर्णकालिक कार्यक्रम अभी भी नए छात्रों के लिए खुले रहेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि भविष्य में स्थगित कार्यक्रमों को पुनः शुरू करने की संभावना है।

यह ध्यान देने योग्य है कि पिछले वर्ष अंतर्राष्ट्रीय छात्रों की संख्या सीमित थी, जिसके कारण ओन्टारियो कॉलेजों में नामांकन में 50 प्रतिशत की गिरावट आई थी। इसके परिणामस्वरूप प्रांत के परिसरों पर खर्च में 752 मिलियन डॉलर की कमी आई है।
कनाडा के सरकारी एल्गोन्क्विन कॉलेज ने इस महीने घोषणा की कि वह अगस्त 2026 तक पर्थ शहर में अपना परिसर बंद कर देगा। पर्थ की मेयर जूडी ब्राउन ने कहा कि “ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा के अवसर महत्वपूर्ण हैं, और परिसरों के बंद होने से स्थानीय लोगों को भारी नुकसान होगा। यह ऐसा कैंपस व कॉलेज जिसमें पंजाबी बहुसंख्यक स्टडी करने के लिए जाते थे। शेरिडन कॉलेज ने 40 कार्यक्रमों को निलंबित कर दिया। इस बीच, सेनेका कॉलेज ने अपने मार्खम, ओंटारियो परिसर को अस्थायी रूप से बंद करने की घोषणा की है। मोहॉक कॉलेज ने 2025 तक अपने 20 प्रतिशत प्रशासनिक कर्मचारियों को नौकरी से निकालने तथा 16 कार्यक्रमों को रद्द करने का निर्णय लिया है। अंतर्राष्ट्रीय छात्रों की संख्या सीमित करने के निर्णय के बाद अब इसका असर कनाडा के विभिन्न कॉलेजों पर दिखने लगा है।
कनाडा के वीजा एक्सपर्ट परविंदर सिंह का कहना है कि जब विद्यार्थी नहीं रहेंगे तो कॉलेज फैकल्टी को पगार कहां से देंगे ? कॉलेजों पर काफी संकट गहरा रहा है।
अमेरिका में सख्ती के बाद भारतीयों की परेशानियां बढ़ गई है। अमेरिका ने ढाई सौ से अधिक भारतीयों को डिपोर्ट कर दिया है जिनमें सबसे ज्यादा पंजाबी है और उनका प्लेन अमृतसर में लैंड होगा। वहीं अमेरिका ने हजारों लोगों की पहचान कर ली है और वैध दस्तावेज न मिलने पर उन्हें भी डिपोर्ट करने की तैयारी की जा रही है। अमेरिका ने कई तरह के बदलाव किए है और अवैध रूप से रहने वालों को निकाला जा रहा है।